Bacterial Infection in Hindi: मानव शरीर की त्वचा पर कोशिकाओं से कहीं अधिक बैक्टीरिया पाए जाते हैं। यह बैक्टीरिया अधिकतर त्वचा और हाथ में भी पाए जाते हैं। इनमें ज्यादातर यह देखा गया है कि कुछ बैक्टीरिया हानिकारक नहीं होते हैं। बहुत से ऐसे भी बैक्टीरिया होते हैं जो स्वास्थ्य के लिए बहुत ही अच्छे होते हैं। लेकिन यह बैक्टीरिया कभी-कभी इन्फेक्शन का कारण भी हो सकते हैं।
बैक्टीरियल इनफेक्शन हमारे गले में, फेफड़ों, आंत और कई अन्य भागों को इन्फेक्शन कर सकते हैं। कुछ इंफेक्शन हल्के होते हैं तो कुछ ज्यादा गंभीर होते हैं। इन इंफेक्शन को आमतौर पर एंटीबायोटिक दवाओं के द्वारा ठीक किया जाता है। इन इन्फेक्शन से बचने के लिए हमें अपने हाथ साबुन से धोने चाहिए। और दूसरे की चीजों को इस्तेमाल करने से बचें।
बैक्टीरियल इन्फेक्शन अधिक गंभीर न हो इसके लिए छींकते या खांसते समय अपने मुँह पर कपडा रखें । साबुन से हाथ धोते रहें।
बैक्टीरियल इंफेक्शन के प्रकार ( Types of Bacterial Infection)
Table of Contents
- त्वचा का बैक्टीरियल इनफेक्शन
बहुत से प्रकार के बैक्टीरिया त्वचा की इन्फेक्शन का कारण बनते हैं। इन इन्फेक्शन में सेल्यूलाइटिस फॉलिकुलाइटिस इम्पेटिगो नामक संक्रमण शामिल हैं। बैक्टीरिया के आधार पर ही एंटीबायोटिक दवाओं के द्वारा इनका संक्रमण को ठीक किया जाता है।
- खाने से संबंधित बैक्टीरियल इनफेक्शन
खाने से वैसे तो कई समस्याएं होती हैं परंतु इनमें से कुछ समस्याओं में बैक्टीरियल इन्फक्शन भी कारण होता है। खाना स्वछता पूर्वक खाना चाहिए नहीं तो दस्त, मतली, उल्टी, बुखार, ठंड लगना, पेट दर्द आदि हो जाता है। आमतौर पर कच्ची मछली, मीट, अंडों से बैक्टीरियल संक्रमण हो सकते हैं।
- यौन संबंध से संबंधित बैक्टीरियल इनफेक्शन
बैक्टीरियल इन्फेक्शन से कभी-कभी यौन इंफेक्शन भी हो जाता है। इसके स्पष्ट लक्षण नहीं दिखाई देते हैं लेकिन इनसे प्रजनन क्षमता की कमी को देखा जा सकता है।
बैक्टीरियल इन्फेक्शन के लक्षण (Bacterial Infection in Hindi)
बैक्टीरियल इंफेक्शन हमारे शरीर के किसी भी हिस्से को प्रभावित कर सकता है। इस के तीन प्रमुख लक्षण हैं। संक्रमित जगह पर लाल हो जाना, सूजन और उस हिस्से में गर्माहट होना से में गर्माहट महसूस होना।
- बुखार
जीवाणु संक्रमण के द्वारा बुखार होना आम बात है। बुखार के साथ-साथ ठंड लगना, कंपन होना और दांत बजना भी हो सकता है।
- लिंफ नोड की सूजन
जीवाणु संक्रमण से लिंफ नोड की सूजन भी हो सकती है। यह सूजन अक्सर इन्फेक्शन के आसपास की जगह पर ही होती है।
- गला खराब होना
बैक्टीरियल संक्रमण से गला खराब हो सकता है जिसमें गले में दर्द और खाना निगलने में परेशानी हो सकती है।
- निमोनिया
बैक्टीरियल इंफेक्शन से निमोनिया हो सकता है जिसमें सूखी खांसी और सांस फूलने जैसे लक्षण हो सकते हैं।
- फूड प्वाइजनिंग
बैक्टीरिया के संक्रमण से एक खाना विश्वास हो सकता है। इसमें पेट दर्द, दस्त, मतली और उल्टी होती है।
- यूरिन इन्फेक्शन
बैक्टीरिया के इंफेक्शन के कारण हमें यूरिन इन्फेक्शन भी हो सकता है जिसमें बार-बार मूत्र लगना और मूत्र त्याग में दर्द होना आम बात है।
बैक्टीरियल इनफेक्शन कई तरीके से फैलता है
- खांसी और चिकने से
- संक्रमित लोगों के संपर्क में आने से
- दूसरी जगह और दूषित भोजन दूषित पानी पीने से
- पालतू जानवरों के समय आने से।
बैक्टीरियल इंफेक्शन से बचाव (Prevention Bacterial Infection)
बैक्टीरियल इंफेक्शन के खतरे को कम करने के लिए आप निम्नलिखित नियमों को मांग सकते हैं।
- बार-बार हाथ साबुन से धोते रहें।
- हाथ धोने के लिए बैक्टीरिया रोधी साबुन और गर्म पानी का प्रयोग करें।
- अपने घर और कार्यालय में इस्तेमाल की जाने वाली वस्तुओं को साफ रखें।
- बीमार लग रहे किसी भी व्यक्ति से दूर रहें।
- भोजन संबंधित व्यक्ति रियल संक्रमण की रोकथाम।
- आंतों के हानिकारक बैक्टीरिया और उसके लक्षणों के बारे में जानकारी प्राप्त करें।
- अपने आसपास के क्षेत्र में प्रदूषित भोजन को ना खाएं रास्ते पर ठेलों से ना खाएं।
- भोजन बनाते समय अपने हाथों को साफ रखें।
- सब्जियों को बाजार से लाने के बाद अच्छी तरीके से धोए और फिर अच्छी तरीके से पकाएं।
- ऐसा कोई भी चीज ना खाएं जिससे गंद रही हो या खराब लग रही हो।
शारीरिक बैक्टीरियल संक्रमण की रोकथाम
- गले में दर्द से अपने आप को सुरक्षित रखें।
- निमोनिया के विकास के अपने जोखिम को कम करें।
- कान में होने वाले संक्रमण से बचें।
- ब्लड में होने वाले संक्रमण से बचें।
बैक्टीरियल इन्फक्शन का इलाज (Bacterial Infection Treatment)
बैक्टीरियल इन्फेक्शन का इलाज एंटीबायोटिक दवाओं के द्वारा किया जाता है। एंटीबायोटिक दवाओं को ज्यादा मात्रा में इस्तेमाल नहीं किया जाता है। क्योंकि इनका अधिक इस्तेमाल बैक्टीरिया को इसके दवा के प्रति प्रतिरोधक बना दिया देता है। इसलिए एंटीबायोटिक दवाओं का उपयोग चिकित्सक द्वारा बताए गए समय तक किया जाता है।
बिना चिकित्सक की सलाह के आपको कोई भी एंटीबायोटिक दवा नहीं लेनी चाहिए आपके लिए जो भी एंटीबायोटिक दवा सही है उसका चुनाव चिकित्सक आपके रोग के लक्षण के आधार पर ही करते हैं। चिकित्सक आपके रोग के परीक्षण के बाद ही सही निष्कर्ष पर पहुंचते हैं और उसी के अनुसार एंटीबायोटिक दवाएं आपको प्रेस क्लब करते हैं।
FAQ:
Q: बैक्टीरियल इन्फेक्शन कैसे ठीक होता है?
Ans: बैक्टीरियल इनफेक्शन एंटीबायोटिक दवाओं के द्वारा ठीक होता है।
Q: बैक्टीरियल इंफेक्शन से क्या क्या बीमारी होती है?
Ans: बैक्टीरिया से बैक्टीरियल इंफेक्शन होता है जोकि गले में खराश होना खांसी होना सीखना बुखार और भी कई तरीके की गंभीर बीमारियां होती हैं।
Q: बैक्टीरियल इनफेक्शन कितने दिन तक रहता है?
Ans: आमतौर पर बैक्टीरियल इनफेक्शन 10 से 15 दिन तक रहता है लेकिन अगर इसका उपचार नहीं किया जाए तो यह लंबे समय तक भी रह सकता है।
Q: बैक्टीरियल इंफेक्शन ठीक होने में कितना समय लगता है?
Ans: बैक्टीरियल इनफेक्शन मैं अगर सही उपचार किया जाए एंटीबायोटिक दवाएं ली जाए तो यह 4 से 5 दिन में ठीक हो जाता है। अगर दवाई नहीं ली जाती हैं तो यह लंबा खिंच सकता है।
Note: इस लेख में दी गए सुचना केवल जानकारी मात्र है बिना चिकित्सक के सलाह के आप कोई भी सुझाव को नहीं मानें ।